दामोदर राव का जलवा आज भी म्यूजिक की दुनिया में बरकरार है। यहीं वजह है कि म्यूजिक इंडस्ट्री में उनकी डिमांड काफी है। बिहार राज्य के पश्चिमी चम्पारण बेतिया जिले के नरकटियागंज से आने वाले दामोदर राव की खासियत ये है कि वे साफ – सुथरे गानों को ही ज्यादा तवज्जो देते हैं, जिस वजह से उनकी मधुर संगीत का इंतजार लोगों को बेसब्री से होता है। उन्होंने भोजपुरी समेत हिंदी फिल्मों के गानों के अलावा 1500 से भी अधिक एलबम को अब तक अपने सुरमई संगीत से सजाया है। और इन्हें भोजपुरी के सर्वश्रेष्ठ संगीतकारों में से जाना जाता है। इनका संगीत मधुर और कर्णप्रिय होता है।
हिंदी, भोजपुरी, मैथिली, हरियाणवी, पंजाबी आदि एलबमों में कई सुपर हिट गाने में दामोदर राव की संगीत के कारण हिट हुए।
आजकल इनका हिंदी सैड सॉन्ग कुछ ज्यादा ही पॉपुलर हुआ है, एक महीना एक करोड़, 2 महीना में दो करोड़ और तीन महीना में 3 करोड़ तक यू ट्यूब पर देखा गया है, इनके पिता रामधनी राव एक प्रसिद्ध लोक गायक थे। इसलिए इनको गीत-संगीत विरासत में मिली थी।
गणेश बाबू और तनुश्री अभिनीत भोजपुरी फिल्म रंगदार शिवा की शूटिंग 25 जुलाई से शुरू होगी
संगीत की दुनिया में इनकी कल्पना का कोई जवाब नहीं, यहीं वजह है कि अब तक ये कुमार सानु, उदित नारायण, सपना अवस्थी, साधना सरगम, अभिजीत भटाचार्य, विनोद राठोड, अनूप जलोटा, रूप कुमार राठोड, इंदु सोनाली, पलक मुच्छल, अल्का याग्निक, अगम कुमार निगम, मनोज तिवारी, पवन सिंह, प्रमोद प्रेमी यादव, आलोक कुमार, मोहन राठोड, कल्पना पटवारी, रितेश पांडेय, राकेश मिश्रा, पामेला जैन, खुशबू जैन आदि के गानों में अपने हुनर को बखूबी इस्तेमाल कर चुके हैं। और अभी परिवार के बाबू, ऐसी लागी लगन, तकरार, दहेज में पिस्तौल, कर्म युग आदि फिल्मों में भी संगीत दे रहे हैं।
भोजपुरी सिनेमा में दामोदर राव उपस्थिति एक लीजेंड की है। यह संगीतकार के अलावा गाते भी बेहद सुरीले हैं और अभिनय का भी इन्हें अनुभव है। ये अदाकारी भी बेहतरीन कर लेते हैं। मगर इनकी रूचि संगीत में अधिक है, इसलिए इनका ज्यादा फोकस संगीत पर ही रहता है। यहीं वजह है कि आज इंडस्ट्री में इन्होंने अपनी मेहनत, प्रतिभा और समर्पण के बल पर कैरियर को इस मुकाम तक पहुंचाया है।